हितकारिणी वुमेंस कॉलेज ऑफ एजुकेशन में नेशनल वर्कशॉप का समापन
जबलपुर दर्पण। टीचिंग के दौरान स्टोरी टेलिंग एक प्रभावशाली टीचिंग टेक्नीक है, जो छात्रों को साहित्यिकता, नैतिकता और मानवीयता के माध्यम से बालमन में एक अमिट प्रभाव छोड़ती है। इससे बच्चों में कल्पनाशीलता का भी विकास होता है। शिक्षार्थियों को एक प्रासंगिक शिक्षण वातावरण प्रदान करने के साथ ही यह दुनिया की प्रकृति की कल्पना और खोज की प्रवृत्ति और क्षमताओं को भी बढ़ावा देता है। उक्त बांतें हितकारिणी वुमेन्स कॉलेज ऑफ एजुकेशन में आयोजित इमरर्जिंग ट्रेंड्स इन स्कूल एजुकेशन सिस्टम विषय पर आयोजित नेशनल वर्कशॉप के समापन अवसर पर मेयो कॉलेज अजमेर की तृप्ति पारीक ने कहीं।
मेयो कॉलेज अजमेर की स्पेशल एजुकेटर तरूणा काबरा ने बताया कि क्लास में डिसेबल्ड चाइल्ड की भावनाओं का सम्मान करते हुए उन्हें बेहतर तरीके से अध्यापन कराना जरूरी है, जिससे छात्र अपनी बेहतर समझ क्षमता का विकास कर सकें। पर्सनालिटी डेवलपमेंट पर चर्चा करते हुए निशा सिंह ने बताया कि किस प्रकार हम अपनी पर्सनालिटी डेवलप करके क्लासरूम में अपना बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं। समापन अवसर पर सभी प्रतिभागियों को प्रमाणपत्र प्रदान किया गया।
इस अवसर पर हितकारिणी सभा के संयुक्त सचिव मुकुल खंपरिया, प्राचार्य डॉ सुलक्षणा त्रिपाठी, उपप्राचार्य डॉ. तृप्ति श्रीवास्ताव, डॉ. निरुपमा पाठक, डॉ. अलका श्रीवास्तव, वर्षा दुबे, डॉ. रश्मि शुक्ला, जया सामदेकर, डॉ. निधि माथुर, आदि उपस्थित रहे। ज्योति शर्मा एवं कार्यालय कर्मचारी नितिन साहू, संतोष ठाकुर, शाश्वत गुप्ता, प्रेमलता चौबे, विजय दहायत, सुधा चौधरी आदि का महत्वपूर्ण योगदान रहा।