शासकीय महाविद्यालय मवई में नि:शुल्क करना है प्रवेश, लेकिन ले रहे शुल्क
मण्डला। शासकीय महाविद्यालय मवई में प्रथम और द्वितीय श्रेणी में प्रवेश लेने वाले छात्रों से शुल्क लिये जाने का मामला प्रकाश में आया है। छात्रों ने आरोप लगाया है कि वर्तमान में महाविद्यालय में पदस्थ प्रशासनिक चार्ज प्राप्त एवं प्रभारी प्राचार्य श्रीमती वंदना उरकुड़े के मार्गदर्शन में छात्रों से खुलेआम लूट की जा रही है। जबकि प्रथम एवं द्वितीय श्रेणी में प्रवेश लेने वाले छात्रों को नि:शुल्क प्रवेश फॉर्म दिया जाना है, लेकिन छात्रों से 100 से लेकर 200 रूपये की राशि प्रवेश शुल्क के नाम से ली जा रही है। इस संबंध में मवई और अंजनिया शासकीय महाविद्यालय का चार्ज आरडी कॉलेज के प्रभारी प्राचार्य राजेश चौरसिया के पास है। उनसे इस संबंध में चर्चा हुई तो उन्होंने बताया कि जानकारी का अभाव होने के कारण छात्रों से शुल्क लिया गया है।
मेरिट लिस्ट में कौन है ऊपर उसकी हो जॉच-मवई और अंजनिया शासकीय महाविद्यालय का कार्यभार देखने वाले आरडी कॉलेज के प्रभारी प्राचार्य डॉ. राजेश चौरसिया से चर्चा की गई कि मेरिट लिस्ट में ऊपर कौन है तो उन्होंने बताया कि अर्चना डेनियल से ऊपर श्रीमती वंदना उरकुड़े हैं उसी आधार पर उन्हें मवई का प्रशासनिक चार्ज दिया गया है, जो बालाघाट से आई हुई हैं। उन्होंने ये भी बताया कि जब मवई में महाविद्यालय प्रारंभ हुआ था उस दौरान पहला अर्चना डेनियल के पास ही था, लेकिन अब उनसे ऊपर मेरिट लिस्ट के आधार पर श्रीमती वंदना उरकुड़े हैं जिन्हें प्रशासनिक चार्ज दिया गया है। उन्होंने ये भी बताया कि मप्र शासन उच्च शिक्षा विभाग के निर्देशानुसार शासकीय महाविद्यालय मवई का प्रशासनिक चार्ज श्रीमती वंदना उरकुड़े को बीएससी मेरिट लिस्ट के आधार पर दिया गया है। जबकि जानकारी ये सामने आ रही है कि अर्चना डेनियल उनसे सीनियर हैं और मेरिट लिस्ट में उनसे ऊपर हैं। ये तो जॉच के बाद ही स्पष्ट होगा कि मेरिट लिस्ट में ऊपर कौन हैं?
बगैर निविदा प्रकाशन के हो रही खरीदी-इन दिनों मवई शासकीय महाविद्यालय में फर्नीचर से लेकर तकनीकी सामग्री जैसे कम्प्यूटर एवं फोटो कॉपी मशीन और अन्य खरीदी मनमाने ढंग से की जा रही हैं। सूत्रों से प्राप्त जानकारी अनुसार शासन की गाइडलाइन का बगैर पालन करते हुये खरीदी की जा रही है। स्थानीयजनों ने बताया कि शासन ने ग्राम पंचायत से लेकर नगर पालिका और जिला चिकित्सालय एवं शासकीय स्कूलों तक में जो भी सामग्री क्रय की जाती है उसके पहले निविदा का प्रकाशन होता है और सभी व्यापारियों को अवसर दिया जाता है। निविदा प्रकाशन का उद्देश्य सिर्फ इतना है कि शासन को अधिक कीमत पर मिलने वाली सामग्री उचित दाम पर मिल जाये इसलिए निविदाएं आमंत्रित कर क्रय करने वाली सभी सामग्रियों की दरे सामने आ जाती हंै, लेकिन देखने में आ रहा है कि वर्तमान में प्रशासनिक चार्ज मवई शासकीय महाविद्यालय का मिला है वो मनमाने दर पर सामग्री क्रय कर शासन को क्षति पहुंचाने का काम कर रही हैं।
इनका कहना
शासकीय महाविद्यालय मवई का प्रशासनिक अधिकारी का चार्ज श्रीमती वंदना उरकुड़े को मेरिट लिस्ट के हिसाब से दिया गया है, वहीं जो बच्चों से प्रवेश फार्म का शुल्क लिया गया है उसे वापस कराया जायेगा, वहीं उन्हें निर्देश दे दिये हैं कि ऑनलाईन पोर्टल से प्रवेश होना है इसलिए छात्रों को फार्म न दिये जायें। साथ ही जो सामग्री शासकीय महाविद्यालय मवई के लिए क्रय की जा रही है उसके लिए ओपन टेंडर की औपचारिकता की गई है।
डॉ. राजेश चौरसिया, प्रभारी प्राचार्य
मवई महाविद्यालय के कार्यभार अधिकारी